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ब्रह्मांड में शनि जैसे नए ग्रह का संकेत! क्या कहते हैं स्पेस साइंटिट्स?

 

नई दिल्ली (छत्तीसगढ़ दर्पण)। अंतरिक्ष में कई ऐसे रहस्य हैं जिन्हें सुलझाने में वर्षों ने साइंटिस्ट्स प्रयास कर रहे हैं। लेकिन इन्हीं कोशिशों के बीच कुछ ऐसे नए तथ्य सामने आते हैं, जिससे अब तक समूचा खगोल विज्ञान अछूता रहा है। वैज्ञानिकों को स्पेस की तस्वीरों से जो संकेत मिले हैं वो वाकई में गंभीर हैं। अगर से वास्तव में ये सच साबित होता है तो अब तक ज्ञात ब्रह्मांड के ग्रहों की संख्या का आंकड़ा बढ़ जाएगा।

अब तक ब्रह्मंड में 8 ग्रहों को मान्यता
ब्रह्मांड में अंतरिक्ष की दुनिया रहस्यों से भरी है। खगोल विज्ञान ने अब तक कुल 8 ग्रहों को मान्यता दी है। जिनमें बुध, शुक्र, पृथ्वी, मंगल, बृहस्पति, शनि, युरेनस और नेप्चून है। इसके अतिरिक्त तीन बौने ग्रह और हैं। जिनके नाम सीरीस, प्लूटो और एरीस हैं। लेकिन ताजा शोध में वैज्ञानिकों को एक नए ग्रह के संकेत मिले हैं।

ब्रह्मांड में नए ग्रह के संकेत
स्पेस साइंटिस्ट्स का कहना है कि ब्रह्मांड में कोई और ग्रह हो सकता है। सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स में खगोलविदों द्वारा किए गए एक नए अध्ययन में इसके प्रमाण मिले हैं। न्यूज एजेंसी एएनआई ने सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स के हवाले से ये दावा किया है। जिसमें कहा गया है कि स्पेस में धूल और गैस से बनी एक डिस्क कुछ ऐसा ही संकेत देती है।

शनि के आकार जैसा
खगोलविद्दों की एक रिपोर्ट के निष्कर्ष में ये कहा गया है कि एक नया ग्रह नेपच्यून या शनि के आकार से मिलता जुलता अस्तित्व में होने का संकेत मिला है। ये दावा सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स और प्रोजेक्ट लीडर के पोस्टडॉक्टरल विद्वान फेंग लॉन्ग की एक रिसर्च में किया गया है। जिसमें कहा गया है कि नए ग्रहों को सीधे खोजना बेहद कठिन है। वहीं स्मिथसोनियन एस्ट्रोफिजिकल ऑब्जर्वेटरी और हार्वर्ड कॉलेज ऑब्जर्वेटरी के सहयोग से सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स के खगोलविदों ने इन हार्ड-टू-स्पॉट ग्रहों को खोजने के लिए एक अपडेटेड तरीका खोजा। जिसमें पाया कि स्पेस में धूल और गैस की डिस्क एक डिस्क मौजूद है, जो नेप्च्यून या शनि जैसे ग्रह के आकार की है।

3 मिलिनय वर्ष पुरानी है डिस्क
ताजा रिसर्च में कहा गया है कि ये डिस्क 518 प्रकाश वर्ष दूर देखी गई है। जो हाई रिजॉल्यूशन ALMA डेटा एनालिसिस में सामने आया। साइंटिट्स का अनुमान है कि धूल और गैस से भरी ये डिस्क करीब 3 मिलियन वर्ष पुरानी है।

NASA ने क्या कहा?
नासा के वैज्ञानिकों का दवा है कि ग्रह एक प्रोटोप्लेनेटरी डिस्क में बनते हैं, जो मूल रूप से गैस और धूल के होते हैं। ब्रह्मांड में ऐसे सैकड़ों डिस्क हैं, लेकिन वास्तविक ग्रहों के जन्म और विकास का निरीक्षण करना एक चुनौतीपूर्ण कार्य है।

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