दुनिया-जगत

अमेरिका यात्रा में वाशिंगटन से होते हुए केंद्रीय मंत्री जितेंद्र सिंह न्यूयॉर्क पहुंचे

 वाशिंगटन (छत्तीसगढ़ दर्पण)। भारत के केंद्रीय विज्ञान एवम् प्रौद्योगिकी राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार), पृथ्वी विज्ञान राज्यमंत्री (स्वतंत्र प्रभार), प्रधानमंत्री कार्यालय राज्यमंत्री, कार्मिक, लोक शिकायत एवम् पेंशन राज्यमंत्री, अंतरिक्ष एवम् परमाणु ऊर्जा मंत्री डॉ. जितेंद्र सिंह, एक संयुक्त मंत्रालय स्तरीय भारतीय प्रतिनिधिमंडल के प्रमुख के तौर पर 5 दिन की अमेरिका यात्रा पर पहुंचे। 

इसके तहत वे पेंसिल्वेनिया के पिट्सबर्ग में 21 से 23 सितंबर तक आयोजित होने वाले "ग्लोबल क्लीन एनर्जी एक्शन फोरम" में हिस्सा लेंगे।डॉ. जितेंद्र सिंह की आगवानी करने भारतीय दूतावास के वरिष्ठ अधिकारी आए और जेएफके एयरपोर्ट पर स्वागत के बाद वे वाशिंगटन डीसी के लिए निकल गए, जहां वे 35 कंपनियों के वरिष्ठ अधिकारियों और अंतरिक्ष, पृथ्वी और समुद्री विज्ञान, फार्मा और बॉयोटेक सेक्टर से जुड़े संघीय प्रतिनिधियों के साथ अहम गोलमेज वार्ता करेंगे। इस वार्ता का आयोजन वाशिंगटन डीसी में अमेरिकी कॉमर्स चैंबर के मुख्यालय में अमेरिका-भारत व्यापार परिषद ने किया है।

डॉ. जितेंद्र सिंह, ऊर्जा मंत्रालय, नवीन एवम् नवीकरणीय ऊर्जा मंत्रालय और विज्ञान एवम् तकनीकी मंत्रालय के एक उच्च स्तरीय संयुक्त प्रतिनिधि मंडल का प्रतिनिधित्व कर रहे हैं, जो इस फोरम में हिस्सा लेगा, साथ ही भारतीय मूल के लोगों के साथ-साथ ख्यात बुद्धिजीवियों से मुलाकात करेगा।

35 अहम कंपनियों के सीईओ के साथ होने वाली बैठक में डॉ. जितेंद्र सिंह को द्विपक्षीय विज्ञान एवम् प्रौद्योगिकी में हो रहे सहयोग के बारे में बात करनी है। यह आपसी सहयोग एलआईजीओ (लेजर इंटरफेरोमीटर ग्रेविटेशनल ऑब्जर्वेटरी), टीएमटी (30 मीटर लंबा टेलीस्कोप) जैसे उन्नत विज्ञानों से लेकर न्यूट्रिनो फिजिक्स, स्वच्छ ऊर्जा तकनीकों, स्वास्थ्य विज्ञान, पृथ्वी और समुद्री विज्ञान, कृषि विज्ञान और हाल में उभर रही तकनीकों पर जारी है।

डॉ. जितेंद्र सिंह यह प्रस्ताव भी दे सकते हैं कि भारत सरकार के विज्ञान और प्रौद्योगिकी विभाग और अमेरिका का नेशनल साइंस फाउंडेशन आपस में मिलकर साझा दिलचस्पियों वाले विषयों पर संयुक्त परियोजनाओं की शुरुआत करें। इन विषयों में कोबोटिक्स, कंप्यूटर विजन, रोबोटिक्स एवम् ऑटोमेशन तकनीकें, आर्टिफिशियल इंटेलीजेंस एवम् मशीन लर्निंग, डेटा एनालिटिक्स, सेंसर्स और आईओटी (इंटरनेट ऑफ थिंग्स) से संबंधित नेटवर्किंग एवम् तकनीकें शामिल हैं।

 

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महारानी एलिजाबेथ की अंत्येष्टि में शामिल हुईं डेनमार्क की रानी कोरोना वायरस से संक्रमित

 

कोपनहेगन (छत्तीसगढ़ दर्पण)। ब्रिटेन की दिवंगत महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के अंतिम संस्कार से लौटीं डेनमार्क की रानी मार्गरेथ द्वितीय कोरोना वायरस पॉजिटिव पाई गई हैं। डेनिस रॉयल कोर्ट ने बुधवार को इसकी पुष्टि की है। डेनमार्क की रानी मार्गरेथ इस साल दूसरी बार कोरोना पॉजिटिव हुई हैं। कोरोना वायरस की पुष्टि होने के बाद रानी मार्गरेथ द्वितीय ने इस सप्ताह के लिए अपनी नियुक्तियों को रद्द कर दिया है।

50 सालों से संभाल रही शासन
शाही परिवार द्वारा जारी एक बयान में कहा गया कि 82 वर्षीय मार्गरेथ द्वितीय पिछले 50 वर्षों से राजगद्दी पर हैं। मंगलवार रात संक्रमित होने की जानकारी मिलने के बाद उन्होंने अपना आधिकारिक कार्यक्रम रद्द कर दिया है। डेनिस रॉयल कोर्ट कहा कि रानी के बड़े बेटे और युवराज प्रिंस फ्रेडरिक और उनकी पत्नी प्रिंसेस मैरी, रानी की जगह डेनमार्क सरकार के अधिकारियों और संसद सदस्यों की रात्रिभोज पर मेजबानी करेंगे।

महारानी एलिजाबेथ के अंत्येष्टि कार्यक्रम में शामिल थीं
82 वर्षीय महारानी मार्गरेथ उन 2, 000 विशिष्ट मेहमानों में से एक थीं जो सोमवार को महारानी एलिजाबेथ के अंत्येष्टि कार्यक्रम में शामिल हुई थीं। वह वेस्टमिंस्टर एबे में मोनाको के राजकुमार अल्बर्ट द्वितीय और बेल्जियम के राजा फिलिप सहित कुछ अन्य यूरोपीय देशों के राजा की कतार में बैठी थीं। महारानी ब्रिटिश साम्राज्ञी की मृत्यु के बाद यूरोप की सबसे लंबे समय तक राज करने वाली शासक बन चुकी हैं। डेनमार्क की रानी मार्गरेथ और ब्रिटेन की दिवंगत रानी एलिजाबेथ दोनों के बीच बहन का रिश्ता है।

दिवंगत एलिजाबेथ की चचेरी बहन हैं मारग्रेथ
डेनमार्क की रानी मार्गरेथ और ब्रिटेन की दिवंगत महारानी एलिजाबेथ तीसरी पीढ़ी की चचेरी बहनें हैं। डेनमार्क की गद्दी पर बैठने के 50 साल पूरे होने पर मार्गरेथ इस सप्ताह के अंत में स्वर्ण जयंती उत्सव मनाने जा रही थीं लेकिन बहन के निधन के कारण कार्यक्रम को रद्द कर दिया गया। अंतरराष्ट्रीय मीडिया रिपोर्टों में कहा गया है कि आज, डेनिश राजशाही दुनिया में सबसे लोकप्रिय में से एक है, जिसे 80 प्रतिशत से अधिक डेन का समर्थन प्राप्त है।

यूरोप की एकमात्र रानी मारग्रेथ
डेनमार्क की रानी के शासन के 50 साल 7 महीने पूरे हो चुके हैं। उनके बाद मार्गेट के पहले चचेरे भाई, कार्ल सोलहवें गुस्ताफ का नंबर आता है जो 48 वर्षों से स्वीडन के राजा हैं। माग्ररेथ द्वितीय यूरोप की एकमात्र राज करने वाली रानी भी हैं। हालांकि चार देशों बेल्जियम, नीदरलैंड, स्पेन और स्वीडन में राजकुमारियां हैं। माग्ररेथ जनवरी 1972 में 31 साल की उम्र में अपने पिता फ्रेडरिक की मृत्यु के बाद सिंहासन पर आई, जो डेनमार्क में राज करने वाली रानी का पद संभालने वाली पहली महिला बनीं।
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भुखमरी की समस्या के समाधान के लिए निर्णायक उपाय करेगी संयुक्त राष्ट्र महासभा

 संयुक्त राष्ट्र (छत्तीसगढ़ दर्पण)। संयुक्‍त राष्‍ट्र महासभा की 77वीं बैठक के अवसर पर विश्‍व में बढती भूखमरी की समस्‍या के समाधान के लिए निर्णायक कार्रवाई करने के बारे में वैश्विक नेताओं ने विचार-विमर्श किया।

75 देशों से दो सौ से अधिक सिविल सोसाएटी संगठनों ने एक खुले पत्र पर हस्‍ताक्षर किए, जिसमें बढती भूखमरी पर रोष व्‍यक्‍त किया गया और इसके तत्‍काल समाधान के उपाय सुझाए गए। इन संगठनों की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि वर्तमान में 34 करोड पचास लाख से अधिक लोग भीषण भूखमरी का सामना कर रहे हैं। 2019 के मुकाबले यह संख्‍या दोगुनी हो गई है।

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अब पाकिस्तान को भी तेल बेचेगा रूस, जानिए पुतिन ने शाहबाज शरीफ को क्या दिया ऑफर?

 

इस्लामाबाद (छत्तीसगढ़ दर्पण)। पाकिस्तान डिफर्ड पेमेंट (बाद में भुगतान) पर रूस से तेल आयात कर सकता है। जानकारी के मुताबिक दोनों देश इस संभावना पर चर्चा करने के लिए बातचीत कर रहे हैं। एक वरिष्ठ सरकारी अधिकारी ने रविवार को प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ और रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के बीच समरकंद में शंघाई सहयोग संगठन की हाल ही में हुई बैठक के बाद इसका खुलासा किया है।

डिफर्ड पेमेंट द्वारा तेल आयात पर हो रहा विचार
द एक्सप्रेस ट्रिब्यून की रिपोर्ट के अनुसार वरिष्ठ अधिकारी ने कहा, "हमने रूसी पक्ष के साथ हालिया बातचीत के दौरान डिफर्ड पेमेंट (बाद में भुगतान) भुगतान पर तेल आयात करने की संभावना पर चर्चा की है।" उन्होंने कहा कि रूस ने भी उनके प्रस्ताव पर विचार करने में रुचि दिखाई है। रिपोर्ट के मुताबिक पाकिस्तान के पीएम शाहबाज शरीफ ने रूसी राष्ट्रपति के साथ तीन बैठकें कीं जिसमें से दो अनऑफिसियल थीं। इस बातचीत के दौरान रूस ने भी पाकिस्तान की मांगो पर विचार करने का आश्वासन दिया है।

इमरान खान सरकार पर लगाते रहे हैं गंभीर आरोप
गौरतलब है कि पूर्व प्रधानमंत्री इमरान खान ने बार-बार खुद को हटाए जाने के पीछे अमेरिका पर आरोप लगाया है। इमरान खान का आरोप है कि उन्हें 'स्वतंत्र विदेश नीति' का पालन करने के लिए दंडित किया गया। इमरान खान आरोप लगाए रहे कि पश्चिमी ताकतों को विशेष रूप से रूस के साथ संबंधों को गहरा करने का उनका प्रयास रास नहीं आया। हालांकि अमेरिका ने हमेशा पाकिस्तान के आंतरिक मामलों में दखल देने से इनकार किया है। द एक्सप्रेस ट्रिब्यून के अनुसार, शहबाज और पुतिन के बीच बैठक के बाद रूसी पक्ष द्वारा ऐसा कोई संकेत नहीं दिया कि वे पाकिस्तान की नई सरकार के साथ काम करने को इच्छुक नहीं हैं क्योंकि उन पर अमेरिका की कठपुतली होना का लेबल लगा हुआ है।

पाकिस्तान को अमेरिका का भी डर
आधिकारी ने कहा कि अगर यह प्रस्ताव मुकम्मल हो जाता है कि तो यह ऐतिहासिक होगा क्योंकि पाकिस्तान खाड़ी देशों से तेल का आयात करता रहा है। पाकिस्तान ने पहले भी सऊदी अरब और यूएई से डिफर्ड पेमेंट के आधार पर तेल खरीदा था। रिपोर्ट में यह भी कहा गया है कि पाकिस्तान को अमेरिका का भी डर है। चूंकि अमेरिका और पश्चिमी देश रूस पर यूक्रेन के खिलाफ युद्ध थोपने के प्रयासों के कारण कई प्रतिबंध लगा चुके हैं।

उच्चतम स्तर पर पाकिस्तान का तेल आयात
हालांकि हालांकि, अमेरिकी विदेश कार्यालय के एक सूत्र ने खुलासा किया कि अमेरिका ने कभी भी पाकिस्तान को रूस से तेल खरीदने के लिए मना नहीं किया है लेकिन हमें सलाह दी है कि पाकिस्तान रूस से तेल खरीद नहीं करे तो बेहतर है। पाकिस्तान का मासिक ईंधन तेल आयात जून में चार साल के उच्चतम स्तर पर पहुंचने के लिए तैयार है। अनुमानों के अनुसार, मई में 630,000 टन तक पहुंचने के बाद, देश का ईंधन तेल आयात इस महीने लगभग 700,000 टन तक पहुंच सकता है। आयात पिछली बार मई 2018 में 680,000 टन और जून 2017 में 741,000 टन पर पहुंच गया था।
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Video में दिखा कैसे एक पक्षी की वजह से क्रैश हुआ अमेरिकी सेना का विमान

 

लेक वर्थ (टेक्सास) (छत्तीसगढ़ दर्पण)। ठीक एक साल पहले अमेरिकी नौसेना का एक ट्रेनिंग विमान टेक्सास के रिहायशी इलाके में क्रैश लैंड कर गया था। इस हादसे में कुछ लोगों को गंभीर चोटें आई थीं और कई घरों को नुकासान पहुंचा था। हादसे की जांच तभी शुरू कर दी गई थी, लेकिन इसके कारण की जानकारी एक साल तक नहीं थी। अब जाकर अमेरिकी सेना ने एक वीडियो जारी किया है, जिसमें दिख रहा है कि रनवे पर उतरने के लिए नीचे उतर रहा विमान कैसे एक पक्षी की वजह से अचानक पायलट के नियंत्रण से बाहर चला गया और हादसा हो गया। यह एक कॉकपिट वीडियो है, जिसमें पायलट और उसके सहयोगी के बीच हुई बातचीत भी रिकॉर्डेड है। बता दें कि खतरे का अंदाजा लगते है, विमान में सवार दोनों पायलट पैराशूट से सुरक्षित उतर गए थे।

एक साल पहले हुए हादसे का वीडियो जारी
करीब एक साल पहले अमेरिकी नौसेना का एक जेट टेक्सास के लेक वर्थ के पास क्रैश कर गया था। यह हादसा तब हुआ था, जब विमान एयरपोर्ट पर लैंड ही करने वाला था। घटना 19 सितंबर, 2021 को हुई थी। उस हादसे का एक वीडियो अब अमेरिकी सेना की ओर से जारी किया गया है, जिसमें दिख रहा है कि कैसे एक पक्षी की वजह से एक यह जेट क्रैश कर गया था। यह कॉकपिट वीडियो है, जिसे घटना के लगभग साल भर बाद सार्वजनिक किया गया है। (पहली तस्वीर- सांकेतिक)

काफी ऊंचाई तक दिख रहा था धुआं
फॉक्स न्यूज की एक रिपोर्ट के मुताबिक मिलिट्री जेट टी-45सी गोशॉक प्रशिक्षण उड़ान पर था। जब वह फोर्ट वर्थ के ज्वाइंट रिजर्व बेस स्थित नेवल एयर स्टेशन पर लैंड करने के लिए रनवे की ओर नीचे आ रहा था, तभी 4.5 पाउंड की एक पक्षी उसके इंजन में घुस गई थी। यह एक सिंगल इंजन विमान था। क्रैश होते ही जेट में आग लग गई और आसमान में काफी ऊंचाई तक धुआं उठने लगा।

तीन घरों को हुआ था नुकसान
अमेरिकी नौसेना के हवाले से बताया गया है कि इस हादसे की वजह से तीन घरों को नुकसान हुआ था और तीन लोग जख्मी भी हो गए थे। नई फुटेज में एक पक्षी को जेट में घुसते देखा जा रहा है और इसमें पायलट की आवाज भी है, जो कि यह कहते हुए सुना जा सकता है कि यहां एक इमरजेंसी है। पहले पायलट यह कह रहा है कि वह रनवे पर उतरने की कोशिश करेगा, लेकिन तत्काल बाद कहता है कि ऐसा नहीं हो पाएगा। इस कॉकपिट वीडियो में तुरंत ही अलार्म की आवाज भी गूंज उठती है।

दोनों पायलट सुरक्षित बचे थे
रिपोर्ट में आगे बताया गया कि विमान में दो लोग सवार थे। एक इंस्ट्रक्टर और एक स्टूडेंट। दोनों विमान के क्रैश लैंड होने से पहले ही इजेक्ट हो चुके थे। इस घटना में क्रिस सेलर्स का परिवार बाल-बाल बच गया था, क्योंकि यह विमान उनके घर से बिल्कुल सटकर गिरा था और वह अपनी 9 साल की बच्ची के साथ कुछ ही इंच की दूरी पर बैठे हुए थे। स्काई न्यूज के मुताबिक जब विमान गिरा तब ही इसके चलते 4.1 करोड़ पाउंड का नुकसान हुआ था। 

कॉकपिट वीडियो में पायलट की आवाज भी है
यह वीडियो @PXPSecurityInve हैंडल से शेयर किया गया है, जिसे दो लाख से ज्यादा बार देखा जा चुका हा। इसके कैप्शन में लिखा है, 'मिलिट्री की ओर से जारी नए वीडियो में वह क्षण दिखता है जिसमें एक पक्षी मिलिट्री जेट में पिछले साल उड़कर पहुंचता है, जिसकी वजह से वह लेक वर्थ नेवरहुड में क्रैश हो जाता है और एक घर को काफी नुकसान पहुंचता है।'
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राजनाथ सिंह ने मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फतह अल-सीसी से काहिरा में मुलाकात की

 काहिरा (छत्तीसगढ़ दर्पण)। भारत के रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने काहिरा में मिस्र के राष्ट्रपति अब्देल फत्ताह अल-सीसी से मुलाकात की। रक्षा मंत्री का गर्मजोशी से स्वागत करते हुए राष्ट्रपति अल-सीसी ने बताया कि भारत और मिस्र के बीच ऐतिहासिक रूप से द्विपक्षीय संबंध अच्छी तरह से स्थापित हैं। उन्होंने दोनों देशों के बीच सैन्य सहयोग की सराहना करते हुए कहा कि समझौता ज्ञापन पर हस्ताक्षर रक्षा क्षेत्र में एक बड़ी उपलब्धि है।

दोनों नेताओं ने सैन्य सहयोग को और मजबूत करने और संयुक्त प्रशिक्षण, रक्षा सह-उत्पादन और उपकरणों के रखरखाव पर ध्यान केंद्रित करने पर सहमति व्यक्त की। उन्होंने रक्षा उत्पादन की आवश्यकता पर बल दिया और उस संबंध में विशिष्ट प्रस्तावों पर चर्चा की। राजनाथ सिंह ने आतंकवाद के खिलाफ मिस्र द्वारा उठाए गए कदमों की सराहना की। राष्ट्रपति सिसी ने इस बात पर जोर दिया कि आतंकवाद के खतरे का मुकाबला करने के लिए भारत और मिस्र को विशेषज्ञता और सर्वोत्तम प्रथाओं का आदान-प्रदान करने की आवश्यकता है।

रक्षा मंत्री ने यह स्वीकार किया कि मिस्र अफ्रीका में भारत के सबसे महत्वपूर्ण व्यापारिक भागीदारों में से एक है और दोनों देशों में द्विपक्षीय व्यापार में काफी विस्तार हुआ है। उन्होंने भारत और मिस्र के बीच बहुपक्षीय मंचों में घनिष्ठ सहयोग पर संतोष व्यक्त किया। राजनाथ सिंह ने नवंबर 2022 में कॉप 27 की सफल मेजबानी के लिए शुभकामनाएं दीं।

 

 

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बाइडेन ने कहा, अमेरिका में कोरोना महामारी खत्म हुआ, आंकड़ों में रोजाना मर रहे हैं 400 लोग

 

न्यूयॉर्क (छत्तीसगढ़ दर्पण)।अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइ़़डेन का कहना है कि, कोविड-19 (covid-19) का प्रकोप खत्म हो गया है। सीबीएस के '60 मिनट'कार्यक्रम के दौरान उन्होंने इतनी बड़ी बात कह दी। कोविड महमारी पर एक सवाल का जवाब देते हुए बाइडेन ने कहा, महामारी खत्म हो गई है। हमें अभी भी कोविड के साथ एक समस्या है। अभी भी हम इस पर बहुत काम कर रहे हैं, लेकिन देश से कोरोना महामारी देश से खत्म हो गई है। वहीं, रिपोर्ट के मुताबिक, देश में हर रोज महामारी से 400 लोगों की मौत हो रही है। ऐसे में बाइडेन की इस घोषणा से कई तरह के सवाल खड़े हो रहे हैं।


किसी ने मास्क नहीं पहना है
जो बाइडेन ने डेट्रॉइट में ऑटो शो में एक साक्षात्कार के दौरान कार्यक्रम में भीड़ का जिक्र करते हुए यह टिप्पणी की। उन्होंने इंटरव्यू के दौरान कहा कि, अगर आप नोटिस करें तो कोई मास्क नहीं पहन रहा है। सभी की हालत काफी अच्छी नजर आ रही है, इसलिए मुझे लगता है कि यह बदल रहा है, कोरोना अब देश से खत्म हो चुका है।

क्या अमेरिका में महामारी खत्म हो गई?
रविवार की रात जैसे ही शो प्रसारित हुआ, रिपब्लिकन ने सार्वजनिक स्वास्थ्य आपातकाल के नवीनीकरण के संबंध में सवाल उठाए और कहा कि अगर महामारी खत्म हो गई है तो प्रशासन अपने चल रहे सार्वजनिक स्वास्थ्य आपातकाल को नवीनीकृत क्यों करेगा?

थिंक टैंक चिंतित
थिंक टैंक चिंतित
अर्बन इंस्टीट्यूट एक थिंक टैंक जो आर्थिक और सामाजिक नीति अनुसंधान करता है, के हवाले से बताया कि, अगर सरकार अपनी आपातकालीन घोषणा को समाप्त कर देती है, तो 15.8 मिलियन अमेरिकी अपना मेडिकेड कवरेज खो देंगे। बता दें कि, बाइडेन के कोरोना खत्म होने वाली बात, ऐसे समय में हुई है जब देश में दैनिक कोरोना संक्रमण के मामले कम हुए हैं।

अमेरिका में रोज कोविड से 400 लोग मर रहे हैं
वहीं, वाशिंगटन पोस्ट के सात दिनों की रिपोर्ट के मुताबिक, अमेरिका में कोविड से एक दिन में लगभग 400 लोगों की मौत हो रही है। 30 हजार से अधिक लोग अस्पताल में भर्ती हैं। बता दें कि,जुलाई की शुरुआत में लक्षण पाए जाने के बाद बाइडेन ने दो हफ्तों के लिए खुद व्हाइट हाउस में क्वारंटाइन कर लिया था। उनकी पत्नी जिल को अगस्त में संक्रमण हो गया था।
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हिजाब के खिलाफ नहीं थम रहा महिलाओं का गुस्सा, क्या ईरान में बड़ा बदलाव होने जा रहा है?

 

तेहरान (छत्तीसगढ़ दर्पण)। ईरान में महसा अमिनी की मौत के बाद हिजाब के खिलाफ शुरू हुआ आंदोलन अब थमने का नाम नहीं ले रहा है। बड़ी संख्या में महिलाएं और लड़कियां सड़कों पर प्रदर्शन के लिए उतर गई हैं। महिलाएं हिजाब उतारकर और कई जगहों पर हिजाब जलाकर अपना विरोध जता रही हैं। इसी बीच ऐसे वीडियो भी सोशल मीडिया पर वायरल हो रहे हैं जिनमें लड़कियां अपने बालों को कैंची से काटती हुई नजर आ रही हैं। इन प्रदर्शनों को रोकने के लिए और लोगों को तितर-बितर करने के लिए ईरानी पुलिस द्वारा आंसू गैस का इस्तेमाल किया जा रहा है।

कई प्रदर्शनकारियों को पुलिस ने किया गिरफ्तार
फार्स समाचार एजेंसी की रिपोर्ट के मुताबिक रविवार को उत्तर पश्चिमी कुर्दिस्तान प्रांत के सानंदाज में लगभग 500 प्रदर्शनकारियों में से सुरक्षा बलों ने कुछ प्रदर्शनकारियों को गिरफ्तार कर लिया। ये प्रदर्शनकारी सरकार के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे थे। एजेंसी ने कहा कि प्रदर्शनकारियों ने कुछ खड़ी कारों की खिड़कियां तोड़ दीं और डिब्बे में आग लगा दी। इसके बाद पुलिस ने भीड़ को तितर-बितर करने के लिए आंसू गैस का इस्तेमाल किया। हालात काबू न होते देख पुलिस ने कुछ लोगों को गिरफ्तार भी किया है।

सरकार ने कहा- पिटाई से नहीं हुई मौत
राजधानी के पुलिस प्रमुख, जनरल होसैन रहीमी ने सोमवार को कहा कि 22 वर्षीय महसा अमिनी ने ड्रेस कोड का उल्लंघन किया था इसलिए पुलिस ने उसके रिश्तेदारों से 'सभ्य कपड़े' लाने को कहा था। जुलाई के अंत में, सरकार ने महिलाओं को ऐसे कोट पहनने पर प्रतिबंध लगा दिया था जो घुटनों, तंग पैंट और रिप्ड जींस के साथ-साथ चमकीले रंग के आउटफिट को कवर नहीं करते हैं। समाचार एजेंसी फार्स के मुताबिक महिला की मौत के बाद, पुलिस ने दावा किया कि अधिकारियों और पीड़िता के बीच 'कोई शारीरिक संपर्क नहीं' था। हालांकि, अधिकांश प्रदर्शनकारी पुलिस स्पष्टीकरण से आश्वस्त नहीं थे। उनका मानना है कि महसा की मृत्यु यातना के कारण हुई है।

सही वक्त पर अस्पताल जाती तो बच सकती थी जान
इस पहले राज्य टेलीविजन ने शुक्रवार को एक छोटा वीडियो फुटेज भी जारी किया था जिसमें एक महिला को एक पुलिसकर्मी के साथ बहस के बाद थाने में बहस करते हुए दिखाया गया था। दावा किया जा रहा है कि वह महिला महसा अमिनी है। पीड़िता के पिता अमजद अमिनी ने सोमवार को फार्स को बताया कि पुलिस जो क्लिप दिखा रही है उसे वह स्वीकार नहीं करते। उनका मानना है कि फुटेज के साथ छेड़छाड़ की गई है। इसके साथ ही उन्होंने आपातकालीन सेवाओं के धीमी प्रतिक्रिया को लेकर भी गहरी निराशा जताया। उन्होंने कहा कि अगर सही वक्त पर महसा को अस्पताल ले जाया जाता तो उसकी जान बच सकती थी। आंतरिक मंत्री अहमद वाहिदी ने शनिवार को कहा कि उन्हें रिपोर्ट मिली है कि आपातकालीन सेवा तुरंत घटनास्थल पर पहुंच गई थी।

सरकार ने कहा, पहले से बीमार थी महसा
वाहिदी ने कहा, "महसा को जाहिर तौर पर पिछली शारीरिक समस्याएं थीं और हमने बताया है कि पांच साल की उम्र में उनकी मस्तिष्क की सर्जरी हुई थी।" वहीं महसा ने इससे इंकार करते हुए एजेंसी से कहा कि उनकी बेटी की बीमारी का कोई इतिहास नहीं था और वह पूर्ण स्वास्थ्य में थी। फार्स के अनुसार, पिता ने कहा, "मैंने कोरोनर से अपनी बेटी के पैरों पर चोट के निशान की जांच करने के लिए कहा, लेकिन दुर्भाग्य से उसने मेरे अनुरोध का जवाब नहीं दिया।"

महसा अमिनी के लिए इंसाफ की जंग
आपको बता दें कि, ईरानी महिलाओं का ये गुस्सा उस वक्त फूटा है, जब हिजाब नहीं पहनने की वजह से 22 साल की युवती महसा अमिनी को पुलिस ने हिरासत में ले लिया और फिर पुलिस हिरासत में ही उसकी संदिग्ध मौत हो गई। परिवार का आरोप है, कि पुलिस ने उसे बुरी तरह से प्रताड़ित किया था, जिसकी वजह से वो गंभीर घायल हो गई थी और बाद में उसकी मौत हो गई। मृतका महसा अमिनी की मां ने सीधे तौर पर पुलिस पर मारपीट का आरोप लगाया है, जबकि पुलिस ने आरोपों को नकार दिया है। महसा अमिनी को 13 सितंबर को राजधानी तेहरान में गिरफ्तार किया गया था और 16 सितंबर को उनकी मौत हो गई। रिपोर्ट के मुताबिक, गिरफ्तारी के कुछ घंटे बाद ही महसा अमिनी की हालत काफी खराब हो गई थी और फिर वो कोमा में चली गईं थीं, जिसके बाद उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया था। वो अपने परिवार के साथ तेहारान घुमने आईं थीं, जहां से उन्हें हिजाब नहीं पहनने की वजह से गिरफ्तार किया गया था।
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नेपाल में सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस को देउबा सरकार ने किया नजरबंद

 काठमांडू (छत्तीसगढ़ दर्पण)। नेपाल के सुप्रीम कोर्ट के चीफ जस्टिस चोलेंद्र शमशेर राणा को शेर बहादुर देउबा की सरकार ने नजरबंद कर दिया है। इसके बाद राणा ने कहा कि मैं सुप्रीम कोर्ट जाने की तैयारी कर रहा था, लेकिन सरकार ने ऐसा नहीं होने दिया। पुलिस ने मुझे कोर्ट जाने से रोक दिया। चीफ जस्टिस राणा ने कहा कि मुझे नजरबंद कर दिया है और मेरे घर के बाहर पुलिस का कड़ा पहरा है।

राणा ने एक पत्र में कहा था, संसद का आखिरी सत्र समाप्त हो चुका है और नवंबर में चुनाव हैं। ऐसे में उनके खिलाफ चल रही महाभियोग की प्रक्रिया भी खत्म हो चुकी है। अब मैं चीफ जस्टिस के तौर पर काम करूंगा। राणा के इस दावे के बाद सरकार ने उन्हें हाउस अरेस्ट कर लिया है।

बता दें कि इसी साल 13 फरवरी को नेपाली कांग्रेस, नेपाल की कम्युनिस्ट पार्टी (माओवादी सेंटर) और सीपीएन (यूनिफाइड सोशलिस्ट) के 98 सांसद राणा के खिलाफ महाभियोग प्रस्ताव लेकर आए थे। राणा पर भ्रष्टाचार और सरकार में हिस्सेदारी के लिए सौदेबाजी समेत 21 आरोप लगे और उन्हें फरवरी में निलंबित किया गया था।

महाभियोग प्रस्ताव संसद में पारित नहीं हो पाया और सरकार का शनिवार को आखिरी संसद सत्र भी समाप्त हो गया। वहीं, नेपाल बार एसोसिएशन और सुप्रीम कोर्ट बार एसोसिएशन ने कहा है कि कोर्ट में राणा का विरोध जारी रहेगा।

 

 

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लंदन पहुंचीं भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू, महारानी एलिजाबेथ के अंतिम संस्कार में होंगीं शामिल

 लंदन/नई दिल्ली (छत्तीसगढ़ दर्पण)। महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का अंतिम संस्कार सोमवार, 19 सितंबर को लंदन में होगा। इस दौरान विश्व के कई नेता, रॉयल्टी और अन्य प्रतिष्ठित व्यक्ति शामिल होंगे। भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू महारानी के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए लंदन पहुंच चुकी है।


राष्ट्रपति मुर्मू लंदन के वेस्टमिंस्टर एब्बे में महारानी के राजकीय अंतिम संस्कार में शामिल होंगी। राष्ट्रपति सोमवार को महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए 17 से 19 सितंबर तक यूनाइटेड किंगडम के आधिकारिक दौरे पर हैं। इस दौरान वो महारानी के निधन पर भारत सरकार की ओर से शोक व्यक्त करेंगी।

विदेश सचिव विनय क्वात्रा सहित राष्ट्रपति मुर्मू और उनके दल के सदस्यों को लेकर राष्ट्रपति विमान रात 8बजकर 50 मिनट (भारतीय समय अनुसार) पर लंदन के गैटविक हवाई अड्डे पर उतरा। यहां से सभी उस होटल के लिए रवाना हुए, जहां वह इस दौरे के दौरान ठहरेंगे। लंदन के हवाई अड्डे पर राष्ट्रपति मुर्मू के आगमन पर, ब्रिटेन में भारत के उच्चायुक्त द्वारा उनका स्वागत किया गया।



आधिकारिक जानकारी के मुताबिक राष्ट्रपति आज वेस्टमिंस्टर पैलेस में महारानी के लेटिंग-इन-स्टेट को श्रद्धांजलि देंगी। जिसके बाद वो बकिंघम पैलेस के पास लैंकेस्टर हाउस में भारत सरकार की ओर से शोक पुस्तिका पर हस्ताक्षर करेंगी। जिसके बाद दिन में राष्ट्रपति स्थानीय समयानुसार सुबह 11 बजे लंदन के बकिंघम पैलेस में विदेशी नेताओं के लिए किंग चार्ल्स III द्वारा आयोजित एक स्वागत समारोह में शामिल होंगी। अगले दिन, राष्ट्रपति मुर्मू वेस्टमिंस्टर एब्बे के वेस्ट गेट पर राजकीय अंतिम संस्कार में शामिल होंगी। सोमवार को दोपहर में, वो ब्रिटेन के विदेश, राष्ट्रमंडल और विकास मामलों के विदेश मंत्री, जेम्स क्लेवर्ली द्वारा आयोजित स्वागत समारोह में भाग लेंगी। महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का 96 वर्ष की आयु में  8 सितंबर को निधन हो गया था। उनका 19 सितंबर को वेस्टमिंस्टर एब्बे में पूर्ण राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया जाएगा।

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महारानी एलिजाबेथ का अंतिम संस्कार 19 को, शमिल होंगे दुनियाभर के दिग्गज नेता व हस्ती...

 लंदन/नई दिल्ली (छत्तीसगढ़ दर्पण)। महारानी एलिजाबेथ द्वितीय का अंतिम संस्कार सोमवार 19 सितंबर को लंदन में होगा। इस दौरान विश्व के कई नेता, रॉयल्टी और अन्य प्रतिष्ठित व्यक्ति शामिल होंगे। लंदन में महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के अंतिम संस्कार में शामिल होने वाले मेहमानों की एक लंबी लिस्ट है। लंदन में महारानी एलिजाबेथ द्वितीय के अंतिम संस्कार में शामिल होने वाले मेहमानों की एक लंबी लिस्ट है। महारानी के अंतिम संस्कार में तकरीबन 500 लोगों को आमंत्रित किया गया है। भारतीय राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू महारानी के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए लंदन पहुंच चुकी है।

महारानी के अंतिम संस्कार में शामिल होने वाले अपेक्षित लोग:

रॉयल अटेंडीज
    जापान के सम्राट नारुहितो और की महारानी मसाको
    राजा विलेम-अलेक्जेंडर और नीदरलैंड की रानी मैक्सिमा
    किंग फेलिप VI और स्पेन की रानी लेटिजिया
    स्पेन के पूर्व राजा जुआन कार्लोस
    बेल्जियम के राजा फिलिप और रानी मथिल्डे
    डेनमार्क की रानी मार्गरेट द्वितीय, क्राउन प्रिंस फ्रेडरिक और क्राउन प्रिंसेस मैरी
    किंग कार्ल सोलहवें गुस्ताफ और स्वीडन की रानी सिल्विया
    राजा हेराल्ड वी और नॉर्वे की रानी सोनजा हैराल्डसन
    भूटान के राजा जिग्मे खेसर नामग्याल वांगचुक
    ब्रुनेई के सुल्तान हसनल बोल्कियाह
    जॉर्डन के राजा अब्दुल्लाह
    कुवैत के क्राउन प्रिंस, शेख मेशल अल-अहमद अल-सबाही
    लेसोथो के राजा, लेत्सी III
    लिकटेंस्टीन के वंशानुगत राजकुमार एलोइस
    लक्जमबर्ग हेनरी के ग्रैंड ड्यूक
    पहांगी के मलेशियाई सुल्तान अब्दुल्ला
    मोनाको के राजकुमार, अल्बर्ट II
    मोरक्को के क्राउन प्रिंस मौले हसन
    ओमान के सुल्तान, हैथम बिन तारिक अल-सैद
    कतर के अमीर शेख तमीम बिन हमद अल-थानीक
    टोंगा के राजा, टुपो VI

विश्व के नेता
    अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडन और प्रथम महिला जिल बाइडन
    कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो
    ब्राजील के राष्ट्रपति जायर बोल्सोनारो
    त्रिनिदाद और टोबैगो के राष्ट्रपति पाउला-मे वीक्स
    बारबाडोस के राष्ट्रपति सैंड्रा मेसन
    जमैका के प्रधान मंत्री एंड्रयू होल्नेस
    बेलीज के गवर्नर जनरल फ्लोयला तजालम
    सेंट विंसेंट और ग्रेनेडाइंस के गवर्नर जनरल सुसान डौगन
यूरोप और मिडिल ईस्ट
    फ्रांस के राष्ट्रपति इमैनुएल मैक्रों
    जर्मनी के राष्ट्रपति फ्रैंक-वाल्टर स्टीनमीयर
    इटली के राष्ट्रपति सर्जियो मटेरेला
    आयरलैंड के राष्ट्रपति माइकल डी. हिगिंस
    आयरलैंड के प्रधानमंत्री माइकल मार्टिन
    पुर्तगाल के राष्ट्रपति मार्सेलो रेबेलो डी सूसा
    ऑस्ट्रिया के राष्ट्रपति अलेक्जेंडर वान डेर बेलेन
    हंगरी के राष्ट्रपति कैटलिन नोवाक
    पोलैंड के राष्ट्रपति आंद्रेजेज डूडा
    लातविया के राष्ट्रपति एगिल्स लेविट्स
    लिथुआनिया के राष्ट्रपति गीतानस नौसेदा
    फिनलैंड के राष्ट्रपति सौली निनिस्टो
    ग्रीस की राष्ट्रपति कतेरीना सकेलारोपोलू
    माल्टा के राष्ट्रपति जॉर्ज वेला
    साइप्रस के राष्ट्रपति निकोस अनास्तासीदेस
    यूरोपीय परिषद के अध्यक्ष चार्ल्स मिशेल
    यूरोपीय आयोग के अध्यक्ष उर्सुला वॉन डेर लेयेन
    नाटो के महासचिव जेन्स स्टोलटेनबर्ग
    इजराइल के राष्ट्रपति इसहाक हर्ज़ोग
    फिलीस्तीनी प्रधानमंत्री मोहम्मद शतयेह
अफ्रीका
    दक्षिण अफ्रीका के राष्ट्रपति सिरिल रामफोसा
    नाइजीरिया के उपराष्ट्रपति येमी ओसिनबाजो
    घाना के राष्ट्रपति नाना अकुफो-एडो
    गैबॉन के राष्ट्रपति अली बोंगो
एशिया
    भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू
    चीन के उपराष्ट्रपति वांग किशन
    श्रीलंका के राष्ट्रपति रानिल विक्रमसिंघे
    बांग्लादेश की प्रधानमंत्री शेख हसीना
    न्यूजीलैंड की प्रधानमंत्री जैसिंडा अर्डर्न
    ऑस्ट्रेलियाई प्रधान मंत्री एंथोनी अल्बनीज
    दक्षिण कोरियाई राष्ट्रपति यूं सुक-योल
इन देशों को नहीं किया गया आमंत्रित
    रूस
    म्यांमार
    बेलारूस
    सीरिया
    वेनेजुएला
    अफगानिस्तान।

 

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ब्रिटेन की महारानी के ताबूत से शाही ध्वज खींचने की हुई कोशिश, पुलिस ने शख्स को गिरफ्तार किया

 

लंदन (छत्तीसगढ़ दर्पण)। ब्रिटेन की महारानी का पार्थिव शरीर जनता के अंतिम दर्शन के लिए लंदन स्थित संसद के वेस्टमिंस्टर हॉल में रखा गया है। यहां लोग श्रद्धांजलि देने के लिए एकत्रित हुए थे इसी दौरान एक अजीब वाकया हो गया। बताया जा रहा है कि, यहां एक शख्स महारानी के ताबूत  के उपर रखे शाही ध्वज को खींचने की कोशिश की, जिसके बाद उसे गिरफ्तार कर लिया गया।

महारानी के ताबूत से शाही ध्वज निकालने की कोशिश
19 सितंबर को महारानी को पूरी राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार (Queen Elizabeth Funeral) कर दिया जाएगा। ब्रिटेन के वेस्टमिंस्टर हॉल में देश-विदेश से लोग पहुंचकर महारानी एलिजाबेथ द्वितीय को नम आंखों से अंतिम श्रद्धांजलि दे रहे हैं। इसी दौरान वेस्टमिंस्टर हॉल में एक नाटकीय घटनाक्रम देखने को मिला,जब एक शख्स महारानी के ताबूत की और दौड़ गया। उस शख्स को पुलिस ने ताबूत के करीब जाता देख तेजी से दौड़कर पकड़ लिया। खबर के मुताबिक, वह व्यक्ति शायद महारानी के ताबूत के उपर रखे शाही ध्वज को खीचनें की कोशिश कर रहा था। इस घटना को देखकर पास खड़े लोग हैरान रह गए। पुलिस ने उस शख्स को गिरफ्तार कर लिया है।

शायद वह महारानी को देखना चाहता था
एक प्रत्यक्षदर्शी ने कहा कि लोगों को लगा कि कोई बेहोश हो गया है, और उन्होंने एक चीख सुनी। उन्होंने कहा कि कोई ताबूत की ओर गया और शाही ध्वज ऊपर की ओर खींच लिया। उनका मानना​​​​है कि उस आदमी ने ध्वज के नीचे ताबूत को देखने के लिए ऐसा किया था। यह महारानी के पार्थिव शरीर का अनादर था, जिसने वहां मौजूद लोगों को काफी परेशान किया। एक अन्य मौजूद महिला ट्रेसी हॉलैंड ने कहा कि उसकी भतीजी उसी रास्ते में थी जब वह आदमी रानी के ताबूत की ओर बढ़ा।

वेस्टमिंस्टर हॉल में लोग हैरान, शख्स गिरफ्तार
जब उस शख्स ने महारानी के ताबूत के पास पहुंचने की कोशिश की तो पास खड़ी पुलिस ने उसे पकड़ लिया। कई पुलिसकर्मियों और शाही गार्ड्स कुछ सेकंड के अंदर ही उसे ताबूत से दूर एक कमरे में उठा कर ले गए। बाद में उसे गिरफ्तार कर लिया गया।

विश्व के 500 शीर्ष नेता लंदन पहुंच रहे हैं
ब्रिटेन की महारानी एलिजाबेथ का 96 वर्ष की आयु में स्कॉटलैंड के बाल्मोरल महल में निधन हो गया था। उनकी जगह प्रिंस चार्ल्स को राजा बनाया गया है। कुछ समय से महारानी एलिजाबेथ कहीं आने-जाने में असमर्थ थीं। इसलिए वे अपनी मुलाकातें लंदन के बकिंघम पैलेस की बजाय स्कॉटलैंड के बाल्मोरल कैसल में कर रही थीं। बता दें कि, महारानी के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए दुनिया भर से 500 से अधिक शीर्ष नेता लंदन पहुंच रहे हैं। भारत की राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू आज लंदन के लिए रवाना हो गईं।
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ब्रह्मांड में शनि जैसे नए ग्रह का संकेत! क्या कहते हैं स्पेस साइंटिट्स?

 

नई दिल्ली (छत्तीसगढ़ दर्पण)। अंतरिक्ष में कई ऐसे रहस्य हैं जिन्हें सुलझाने में वर्षों ने साइंटिस्ट्स प्रयास कर रहे हैं। लेकिन इन्हीं कोशिशों के बीच कुछ ऐसे नए तथ्य सामने आते हैं, जिससे अब तक समूचा खगोल विज्ञान अछूता रहा है। वैज्ञानिकों को स्पेस की तस्वीरों से जो संकेत मिले हैं वो वाकई में गंभीर हैं। अगर से वास्तव में ये सच साबित होता है तो अब तक ज्ञात ब्रह्मांड के ग्रहों की संख्या का आंकड़ा बढ़ जाएगा।

अब तक ब्रह्मंड में 8 ग्रहों को मान्यता
ब्रह्मांड में अंतरिक्ष की दुनिया रहस्यों से भरी है। खगोल विज्ञान ने अब तक कुल 8 ग्रहों को मान्यता दी है। जिनमें बुध, शुक्र, पृथ्वी, मंगल, बृहस्पति, शनि, युरेनस और नेप्चून है। इसके अतिरिक्त तीन बौने ग्रह और हैं। जिनके नाम सीरीस, प्लूटो और एरीस हैं। लेकिन ताजा शोध में वैज्ञानिकों को एक नए ग्रह के संकेत मिले हैं।

ब्रह्मांड में नए ग्रह के संकेत
स्पेस साइंटिस्ट्स का कहना है कि ब्रह्मांड में कोई और ग्रह हो सकता है। सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स में खगोलविदों द्वारा किए गए एक नए अध्ययन में इसके प्रमाण मिले हैं। न्यूज एजेंसी एएनआई ने सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स के हवाले से ये दावा किया है। जिसमें कहा गया है कि स्पेस में धूल और गैस से बनी एक डिस्क कुछ ऐसा ही संकेत देती है।

शनि के आकार जैसा
खगोलविद्दों की एक रिपोर्ट के निष्कर्ष में ये कहा गया है कि एक नया ग्रह नेपच्यून या शनि के आकार से मिलता जुलता अस्तित्व में होने का संकेत मिला है। ये दावा सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स और प्रोजेक्ट लीडर के पोस्टडॉक्टरल विद्वान फेंग लॉन्ग की एक रिसर्च में किया गया है। जिसमें कहा गया है कि नए ग्रहों को सीधे खोजना बेहद कठिन है। वहीं स्मिथसोनियन एस्ट्रोफिजिकल ऑब्जर्वेटरी और हार्वर्ड कॉलेज ऑब्जर्वेटरी के सहयोग से सेंटर फॉर एस्ट्रोफिजिक्स के खगोलविदों ने इन हार्ड-टू-स्पॉट ग्रहों को खोजने के लिए एक अपडेटेड तरीका खोजा। जिसमें पाया कि स्पेस में धूल और गैस की डिस्क एक डिस्क मौजूद है, जो नेप्च्यून या शनि जैसे ग्रह के आकार की है।

3 मिलिनय वर्ष पुरानी है डिस्क
ताजा रिसर्च में कहा गया है कि ये डिस्क 518 प्रकाश वर्ष दूर देखी गई है। जो हाई रिजॉल्यूशन ALMA डेटा एनालिसिस में सामने आया। साइंटिट्स का अनुमान है कि धूल और गैस से भरी ये डिस्क करीब 3 मिलियन वर्ष पुरानी है।

NASA ने क्या कहा?
नासा के वैज्ञानिकों का दवा है कि ग्रह एक प्रोटोप्लेनेटरी डिस्क में बनते हैं, जो मूल रूप से गैस और धूल के होते हैं। ब्रह्मांड में ऐसे सैकड़ों डिस्क हैं, लेकिन वास्तविक ग्रहों के जन्म और विकास का निरीक्षण करना एक चुनौतीपूर्ण कार्य है।
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ब्रिटेन में चीन की हुई भारी बेइज्जती, प्रतिनिधिमंडल को नहीं देखने देगा क्वीन एलिजाबेथ का ताबूत

 

लंदन (छत्तीसगढ़ दर्पण)। महारानी एलिजाबेथ के अंतिम संस्कार में शामिल होने के लिए लंदन जाने वाले चीनी प्रतिनिधिमंडल को संसद के अंदर ताबूत देखने की अनुमति नहीं मिलेगी। बीबीसी की खबर के मुताबिक ब्रिटेन सरकार ने चीन के प्रतिनिधि मंडल को संसद में क्वीन के अंतिम दर्शन की इजाजत नहीं दी है। चीन का प्रतिनिधि मंडल ब्रिटिश संसद में क्वीन एलिजाबेथ के अंतिम दर्शन नहीं कर पाएगा। हालांकि चीन का प्रतिनिधि मंडल क्वीन के अंतिम संस्कार में शामिल होगा।

ब्रिटेनी सांसदों ने चीन की निंदा की थी
ब्रिटेन के कुछ सांसदों ने चीन के प्रतिनिधिमंडल को आमंत्रित करने पर चिंता जताई थी। बता दें कि चीन के शिनजियांग प्रांत में उईगर मुसलमानों संग अत्याचार और मानवाधिकारों के हनन करने को लेकर ब्रिटेन के कुछ सांसदों ने चीन की कम्यूनिस्ट सरकार की आलोचना की थी। इसके बाद मार्च 2021 में ब्रिटेन ने चीन के शिन्जियांग में ह्यूमन राइट्स के हनन पर चीनी अधिकारियों पर प्रतिबंध लगाया था। इसके बाद चीन ने पलटवार करते हुए ब्रिटेन के नौ सांसद और चार संस्थाओं पर प्रतिबंध लगा दिया।

क्वीन का ताबूत देखने से किया बैन
बीबीसी ने अपनी रिपोर्ट में कहा है कि चीनी सरकार के प्रतिनिधिमंडल को ब्रिटिश सरकार की निगरानी में क्वीन का ताबूत देखने से बैन कर दिया है। ब्रिटेन की संसद के निचले सदन हाउस ऑफ कॉमन्स के अध्यक्ष सर लिंडसे हॉयल ने चीनी सरकार के एक प्रतिनिधिमंडल को वेस्टमिंस्टर हॉल में दिवंगत महारानी के 'लाइंग-इन-स्टेट' कार्यक्रम में शामिल होने की अनुमति नहीं दी है।

बीबीसी ने रिपोर्ट में किया खुलासा
बीबीसी सूत्रों के मुताबिक सर लिंडसे हॉयल ने उइगुर मुस्लिम अल्पसंख्यकों के उत्पीड़न का आरोप लगाने के लिए पांच ब्रिटिश सांसदों के खिलाफ चीनी प्रतिबंधों के कारण चीनी प्रतिनिधिमंडल के अनुरोध को अस्वीकार कर दिया। इससे पहले सितंबर 2021 में भी चीन के एम्बेसेडर को संसद में आने से रोका गया था। ब्रिटेन की PM लिज ट्रस के प्रवक्ता का कहना है कि मेहमानों की लिस्ट विदेश मंत्रालय की स्वीकृति पर ही तैयार होती है। परम्परा के मुताबिक उन देशों के गेस्ट को बुलाया जाता है, जिनके ब्रिटेन से अच्छे डिप्लोमैटिक रिश्ते होते है।

तनावपूर्ण हो सकते हैं ब्रिटेन-यूके के संबंध
इस बीच हाउस ऑफ कॉमन्स ने कहा कि उसने सुरक्षा मामलों पर कोई टिप्पणी नहीं की है। हालांकि, मीडिया रिपोर्ट में दावा किया गया है कि चीन को अंतिम संस्कार कार्यक्रम में उपस्थित होने की अनुमति होगी, लेकिन उसे संसद भवन के अंदर के कार्यक्रम के लिए अनुमति नहीं दी जाएगी। बता दें कि वेस्टमिंस्टर हॉल संसदीय संपदा का हिस्सा है तथा यह हाउस ऑफ कॉमन्स और हाउस ऑफ लॉर्ड्स के अध्यक्षों के नियंत्रण में होता है। इस घटनाक्रम से ब्रिटेन-चीन संबंधों के और तनावपूर्ण होने की आशंका है।

चीन ने कहा- मेहमानों के साथ हो उचित व्यवहार
चीन के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता माओ निंग ने कहा कि उन्होंने अभी तक रिपोर्ट नहीं देखी है। उन्होंने कहा कि ब्रिटेन के लिए क्वीन का अंतिम संस्कार एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम है। ब्रिटेन के आमंत्रण पर हिस्सा लेने वाला हमारा प्रतिनिधि मंडल क्वीन के सम्मान और ब्रिटेन के साथ संबधों के लिए जा रहा है। आयोजक के रूप में ब्रिटेन को राजनयिक प्रोटोकॉल के साथ-साथ मेहमानों के लिए भी उतिक शिष्टाचार बनाए रखना चाहिए। बता दें कि ब्रिटिश विदेश कार्यालय के सूत्र के अनुसार चीनी उपराष्ट्रपति वांग किशान चीन का प्रतिनिधित्व करेंगे।

19 सितंबर को होगा अंतिम संस्कार
ब्रिटेन की महारानी एलिजाबेथ का अंतिम संस्कार 19 सितंबर सोमवार को होना है। इस कार्यक्रम में अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन समेत बेल्जियम, स्वीडन, नीदरलैंड्स और स्पेन के राजा-रानी शामिल होंगे। फ्रांस, ब्राजील, न्यूजीलैंड, श्रीलंका, तुर्की आदि देशों के राष्ट्राध्यक्ष भी वहां पहुंचेंगे। वहीं, रूस के राष्ट्रपति व्लादिमिर पुतिन समेत बेलारूस, म्यांमार, ईरान को निमंत्रण नहीं दिया गया है।
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डायमंड मैन! 4 साल में खोजे 80 हीरे, पार्क में 35000वें के साथ रिकॉर्ड

 

नई दिल्ली (छत्तीसगढ़ दर्पण)। संयुक्त राज्य अमेरिका में एक शख्स ने अर्कांसस के क्रेटर ऑफ डायमंड्स पार्क में हीरा खोजने का रिकॉर्ड बना डाला। स्थानीय मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, शख्स पिछले चार साल में अब तक पार्क से 80 से अधिक हीरे खोज चुका है।

शख्स ने 4 साल में ढूंढे 80 डायमंड
स्कॉट क्रेकेस को मिला नया डायमंड इस साल का 50वां और पार्क में पंजीकृत होने वाला 35,000वां हीरा था। पार्क की ओर जारी एक विज्ञप्ति अनुसार, क्रेकेस ने अब तक पार्क में 80 से अधिक हीरे ढूंढे हैं। नया हीरा उन्होंने एक सप्ताह पहले खोजा था। ये पार्क में मिलने वाला 35000वां हीरा है। अर्कांसस के क्रेटर ऑफ डायमंड्स पार्क की ओर बताया गया कि स्कॉट क्रेक्स ने चार साल पहले साइट पर डायमंड की तलाश में खुदाई शुरू की थी।

एक साल में खोज चुका है 50 हीरा
अमेरिका के अर्कांसस के क्रेटर ऑफ डायमंड्स पार्क में हीरा खोजने का रिकॉर्ड बनाने वाले शख्स का नाम स्कॉट क्रेकेस है। इस साल वो अब तक 50 से अधिक हीरे खोज चुका है। पिछले चार साल से स्कॉट क्रेकेस डायमंड्स पार्क जाते थे।

पार्क से 5 गैलन बजरी ले जाने की अनुमति
नियम के मुताबिक अर्कांसस के क्रेटर ऑफ डायमंड्स पार्क में आने वाले प्रत्येक शख्स को प्रतिदिन अपने साथ 5 गैलन बाल्टी बजरी घर ले जाने की अनुमति है। कुछ व्यक्ति बजरी की सूखने की प्रतीक्षा करते हैं और बाद में उसमें चमकदार धातु यानी हीरे की तलाश करते हैं।

'व्हाइट डायमंड' 6 सितंबर को रिकॉर्ड में दर्ज
अमेरिकी मीडिया बोस्टन 25 न्यूज की एक रिपोर्ट के अनुसार, स्कॉट क्रेकेस डायमंड सर्च एरिया से जांच करने के लिए बजरी को घर ले गए थे। जिसमें उन्हें एक छोटा हीरा मिला। इसे 6 सितंबर को आधिकारिक तौर पर पंजीकृत कराने के लिए पार्क में लाए। पार्क के अधिकारियों ने इस खोज को सफेद हीरे के रूप में दर्ज किया।

स्कॉट क्रेकेस को पार्क में दो रात का फ्री स्टे
प्रेस विज्ञप्ति के अनुसार, एक कैरेट से छोटे कीमती रत्नों को अंकों में तौला जाता है, जिसमें 100 अंक एक कैरेट के बराबर होते हैं। पार्क के अधिकारियों ने कहा कि श्री क्रेक्स के मील के पत्थर की खोज ने उन्हें अपने परिसर में दो रात का मुफ्त प्रवास दिया।
 
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एससीओ शिखर सम्मेलन में आज शामिल होंगे पीएम मोदी

रूस, उज्बेकिस्तान और ईरान के राष्ट्राध्यक्षों के साथ करेंगे द्विपक्षीय वार्ता

 समरकंद/नई दिल्ली (छत्तीसगढ़ दर्पण)। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी आज एससीओ शिखर सम्मेलन में शामिल होंगे। वो गुरुवार को रात तकरीबन नौ बजे उज्बेकिस्तान के समरकंद पहुंचे थे। पीएम मोदी शिखर सम्मेलन में में पहुंचने वाले आखिरी नेता हैं। शिखर सम्मेलन से इतर पीएम मोदी रूस, उज्बेकिस्तान और ईरान के नेताओं के साथ द्विपक्षीय बैठकें करेंगे। पीएम मोदी आज एससीओ शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे जिसके बाद एससीओ नेताओं की एक जरूरी बैठक होगी।
पुतिन के साथ द्विपक्षीय बैठक करेंगे पीएम मोदी

शिखर सम्मेलन से इतर पीएम मोदी रूसी राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन के साथ द्विपक्षीय बैठक में शामिल होंगे, जिसपर पूरे विश्व की नजरें हैं। कोविड महामारी और यूक्रेन संघर्ष के बाद पीएम मोदी और पुतिन की पहली बैठक है। पीएम मोदी ईरान के राष्ट्रपति इब्राहिम रायसी और उज्बेकिस्तान के राष्ट्रपति शवकत मिर्जियोयेव के साथ भी द्विपक्षीय बैठकें करेंगे।

अगले साल भारत में होगा शिखर सम्मेलन
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी चीनी राष्ट्रपति शी जिनपिंग समेत 15 वैश्विक नेताओं के साथ समरकंद शिखर सम्मेलन में भाग लेंगे। उज्बेकिस्तान एससीओ शिखर सम्मेलन 2022 की अध्यक्षता कर रहा है। जिसके बाद भारत समरकंद शिखर सम्मेलन के अंत में एससीओ की रोटेशनल वार्षिक अध्यक्षता ग्रहण करेगा। एससीओ संगठन में मौजूदा वक्त में आठ सदस्य देश हैं। इनमें चीन, भारत, कजाकिस्तान, किर्गिस्तान, रूस, पाकिस्तान, ताजिकिस्तान और उजबेकिस्तान शामिल हैं। साथ ही चार पर्यवेक्षक देश हैं जो कि पूर्ण सदस्य के तौर पर संगठन में शामिल होने की रुचि रखते हैं। इनमें अफगानिस्तान, बेलारूस, ईरान और मंगोलिया शामिल हैं। संगठन में छह डायलॉग पार्टनर्स देश हैं। ये आर्मेनिया, अजरबैजान, कंबोडिया, नेपाल, श्रीलंका और तुर्की हैं।

साल 2017 में भारत संगठन में हुआ शामिल
साल 1996 में गठित शंघाई फाइव, उज्बेकिस्तान को शामिल करने के साथ 2001 में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) बन गया। वहीं 2017 में भारत और पाकिस्तान के समूह में प्रवेश करने और 2021 में तेहरान को पूर्ण सदस्य के रूप में स्वीकार करने के फैसले के साथ, SCO सबसे बड़े बहुपक्षीय संगठनों में से एक बन गया। शिखर सम्मेलन में भारत ने दृढ़ता से क्षेत्रीय सुरक्षा से संबंधित चिंताओं, रक्षा, आतंकवाद का मुकाबला करने और अवैध नशीली दवाओं के व्यापार आदि पर सहयोग को लेकर आह्वान किया है।

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भारत की यात्रा ने दो मित्र पड़ोसी देशों के बीच संबंधों में एक नया क्षितिज खोल दिया : शेख हसीना

 ढाका (छत्तीसगढ़ दर्पण)। प्रधानमंत्री शेख हसीना ने बुधवार को कहा कि उनकी हालिया भारत यात्रा से बांग्लादेश को फायदा हुआ है और वह खाली हाथ नहीं लौटी हैं। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि उनकी यात्रा ने दो मित्र पड़ोसी देशों के बीच संबंधों में एक नया क्षितिज खोल दिया है। हसीना की यात्रा के दौरान, भारत और बांग्लादेश ने सात समझौतों पर हस्ताक्षर किए, जिनमें से एक कुशियारा नदी के पानी के बंटवारे पर था, जिससे दक्षिणी असम और बांग्लादेश के सिलहट के इलाकों को लाभ होने की उम्मीद है।

हसीना ने पांच से आठ सितंबर के बीच भारत के चार दिवसीय दौरे के करीब हफ्ते भर बाद यहां संवाददाताओं को बताया, उन्होंने (भारत) ने गंभीरता दिखाई और मैं खाली हाथ नहीं लौटी हूं। उन्होंने कहा, मुझे लगता है कि कोविड महामारी के कारण तीन साल के लंबे अंतराल के बाद मेरी यात्रा ने बांग्लादेश-भारत संबंधों में एक नया क्षितिज खोल दिया है। उन्होंने कहा कि दोनों पक्षों के लोगों को उनकी भारत यात्रा के दौरान पहचाने गए सभी क्षेत्रों में सहयोग और मौजूदा द्विपक्षीय समस्याओं को हल करने के लिए लिए गए निर्णयों से लाभ होगा।

उनकी टिप्पणी तब आई जब मुख्य विपक्ष बीएनपी के नेताओं ने आरोप लगाया कि बांग्लादेश को उनकी (हसीना की) भारत यात्रा से कुछ नहीं मिला, जबकि इसके महासचिव मिर्जा फखरुल इस्लाम आलमगीर ने कहा, हसीना भारत से समझौते में असमर्थ हैं। हसीना ने कुशियारा नदी को लेकर सहमति पत्र को बड़ी उपलब्धि बताया। उन्होंने बताया कि दोनों देशों ने पर्यावरण, जलवायु परिवर्तन, साइबर सुरक्षा, अंतरिक्ष प्रौद्योगिकी और हरित अर्थव्यवस्था, सांस्कृतिक व लोगों से लोगों के बीच संपर्क के क्षेत्र में सहयोग पर भी समझौते किए हैं।

 

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तालिबान सरकार ने अफगानिस्तान में अजहर की मौजूदगी से किया इनकार

 इस्लामाबाद (छत्तीसगढ़ दर्पण)।  तालिबान सरकार ने मीडिया में आईं उन खबरों का बुधवार को खंडन किया, जिसमें अफगानिस्तान में जैश-ए-मोहम्मद (जेईएम) प्रमुख मसूद अजहर की मौजूदगी का दावा किया गया है। अफगानिस्तान की तालिबान सरकार ने कहा कि ऐसे आतंकवादी संगठन पाकिस्तान की जमीन से संचालन कर सकते हैं और यहां तक कि सरकारी संरक्षण में भी वे अपना काम जारी रख सकते हैं।

पाकिस्तानी मीडिया में जैश प्रमुख अजहर के अफगानिस्तान में होने संबंधी दावे पर प्रतिक्रिया व्यक्त करते हुए तालिबान की अंतरिम सरकार के प्रवक्ता जबीउल्लाह मुजाहिद ने इसे कड़े शब्दों में खारिज किया। खबरों में दावा किया गया कि पाकिस्तान ने उसे (मसूद अजहर) सौंपने की मांग वाला एक पत्र भी अफगानिस्तान को भेजा है।

 
 
 

पाकिस्तानी विदेश मंत्रालय के एक शीर्ष अधिकारी के हवाले से मंगलवार को सामने आई खबर में कहा गया, हमने अफगानिस्तान के विदेश मंत्रालय को एक पन्ने का पत्र लिखा है, जिसमें उन्हें मसूद अजहर का पता लगाने और गिरफ्तार करने के लिए कहा गया है, क्योंकि हम मानते हैं कि वह अफगानिस्तान में कहीं (पूर्वी नंगरहार प्रांत) में छिपा हुआ है।

मुजाहिद ने एक साक्षात्कार में कहा कि उन्होंने इस बाबत मीडिया में आई खबर देखी है। मुजाहिद ने कहा, लेकिन, यह सच नहीं है। किसी ने भी हमसे ऐसी मांग नहीं की है। मुजाहिद ने कहा, जैश-ए-मोहम्मद प्रमुख अफगानिस्तान में नहीं है। ऐसे संगठन पाकिस्तान की जमीन से संचालन कर सकते हैं - और यहां तक कि आधिकारिक संरक्षण में भी। प्रवक्ता ने कहा, हम किसी को भी, किसी दूसरे देश के खिलाफ अफगानिस्तान की धरती का इस्तेमाल करने की इजाजत नहीं देंगे।

 

 

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